हिंदी सप्ताह कार्यक्रम, 12-18 सितम्बर, 2025
हिंदी सप्ताह कार्यक्रम, 12-18 सितम्बर, 2025
भाकृअनुप- केन्द्रीय तटीय कृषि अनुसंधान संस्थान, एला, ओल्ड गोवा में 12 से 18 सितम्बर 2025 तकहिंदी सप्ताह हर्ष और उल्लास के साथमनाया गया।इस अवसर पर विभिन्न प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया, जिनमें कर्मचारियों ने बढ़-चढ़कर भाग लिया।
सितम्बर 12, 2025 को हिंदीसप्ताह का उद्घाटन करते हुए निदेशक, डॉ॰ प्रवीण कुमार जी ने सभी कार्मिकों को हिंदीसप्ताह कार्यक्रम मेंबढ़ चढ़कर भाग लेकर कार्यक्रम को सफल बनाने हेतु प्रेरित किया।श्री राहुल कुमार, विषय वस्तु विशेषज्ञ एवं राजभाषा अधिकारी ने हिंदी सप्ताह कार्यक्रम की रूपरेखा प्रस्तुत की एवं सभी कर्मचारियों को आयोजित कार्यक्रमों में पूरे उत्साह के साथ भाग लेने का अनुरोध किया। हिंदी समिति ने हिंदी सप्ताह के सभी कार्यक्रमों एवं प्रतियोगिताओं का समन्वयन एवं कार्यक्रम हेतु सभी मूलभूत कार्यों का संपादन किया। सप्ताह में आयोजित विभिन्न कार्यक्रम निम्न प्रकार से हैं:
दिनांक |
समय |
प्रतियोगिता/कार्यक्रम |
12.09.2025 |
सायं 3.00 बजे |
हिंदी सप्ताह का उद्घाटन एवं हिंदी अंताक्षरी प्रथम दौर - सभी कर्मचारियों तथा संविदा कर्मचारियों के लिए । |
14.09.2025 |
बच्चों के लिए प्रतियोगिताएँ: 1. पोस्टर ड्राइंग प्रतियोगिता(कक्षा 6 से 10 तक के बच्चों के लिए) 2. कविता पाठ (नर्सरी से कक्षा 5 तक के बच्चों के लिए) |
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15.09.2025 |
सायं 3.30 बजे |
कंप्यूटर पर युनिकोड में टंकण - सभी कर्मचारियों तथा संविदा कर्मचारियों के लिए |
16.09.2025 |
सायं 4.00 बजे |
आशुभाषण प्रतियोगिता - सभी कर्मचारियों तथा संविदा कर्मचारियों के लिए |
17.09.2025 |
सायं 3 .30 बजे |
हिंदी अंताक्षरी अंतिम दौर |
18.09.2025 |
अपरान्ह 2.30 बजे से |
· हिंदी काव्य पाठ प्रतियोगिता - सभी कर्मचारियों के लिए एवं न.रा.का.स. के कार्यालयों के लिए । · हिंदी सप्ताह समापन समारोह |
समापन समारोह 18 सितम्बर को आयोजित किया गया, जिसमें विजेताओं को सम्मानित किया गया। यह कार्यक्रम संस्थान के निदेशक डॉ॰ प्रवीण कुमार जी के अध्यक्षता में सम्पन्न हुआ। समापन कार्यक्रम में डॉ. आशा गहलोत जी एवं श्री दत्तप्रसाद दत्तात्रे जोग जी सम्माननीय अतिथी के रूप में उपस्थित थे। सम्माननीय अतिथी एवं निदेशक महोदय के हाथों विजेताओं को पुरस्कृत किया गया।
इस अवसर पर सम्माननीय अतिथियों ने हिंदी भाषा के महत्व पर प्रकाश डाला और यह संदेश दिया कि हिंदी केवल संवाद का माध्यम नहीं, बल्कि हमारी सांस्कृतिक धरोहर और राष्ट्रीय एकता की सशक्त कड़ी है।डॉ. आशा गहलोत जी ने कृतज्ञता के महत्व पर प्रकाश डाला और इस बात पर जोर दिया कि आज के युग में भाषा को लेकर विवाद की नहीं व्यवहार की आवश्यकता है।श्री दत्तप्रसाद दत्तात्रे जोग जी ने आज की युवा पीढ़ी में कृत्रिम बुद्धिमत्ता के बढ़ते उपयोग के कारण भाषा में रचनात्मकता की कमी की ओर इशारा किया और पारंपरिक लेखन पद्धतियों के महत्व पर प्रकाश डाला।
निदेशक, डॉ॰ प्रवीण कुमार जी ने सुनियोजित रूप से हिंदी सप्ताह को सम्पन्न करने केलिए हिंदी विभाग को सराहा एवं इस कार्यक्रम के आयोजकों, प्रतिभागियों एवं निर्णायकों को सप्ताह की सफलता पर बधाई दी। इस समारोह के संयोजक की भूमिका श्री आतिल अमन ने निभाई और धन्यवाद प्रस्ताव भी प्रस्तुत किया।
हिंदी सप्ताह ने हमें यह स्मरण कराया कि हमें हिंदी भाषा के प्रचार-प्रसार के लिए निरंतर प्रयासरत रहना चाहिए और अपने दैनिक कार्यों में हिंदी का प्रयोग बढ़ाना चाहिए।